पड़ाव क्षेत्र के बाढ़ग्रस्त इलाकों में का डीएम‚ एसपी व मुगलसराय विधायक रमेश जायसवाल ने लिया जायजा
गंगा में पानी बढ़ने से रिहायशी इलाकों में आयी बाढ़
Young Writer, चंदौली। पड़ाव क्षेत्र के बाढ़ प्रभावित गांव और बाढ़ चौकियों का जिलाधिकारी चंदौली संजीव कुमार व एसपी अंकुर अग्रवाल, विधायक रमेश जायसवाल ने निरीक्षण किया। संबंधित अधिकारियों और कर्मचारियों को निर्देश भी दिया कि समय रहते उचित व्यवस्थाएं कर लिया जाए, जिससे आम जनमानस के साथ-साथ में पशुओं को दिक्कत ना हो।


विदित हो कि इस समय वाराणसी (Floods in Varanasi) जनपद में गंगा ने रौद्र रूप धारण कर लिया है। गंगा का पानी तटवर्ती इलाके को अपने आगोश में लेने के लिए आतुर है। क्षेत्र स्थित सूजाबाद, डोमरी, बहादुरपुर, मढ़िया, रतनपुर, कटेसर समेत आधा दर्जन गांव के तलहटी क्षेत्रों के साथ-साथ आबादी की तरफ पानी पहुंच गया है जिससे आप लोगों को घर छोड़ने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। बाढ़ के प्रभाव को देखते हुए जिलाधिकारी संजीव कुमार, पुलिस अधीक्षक अंकुर अग्रवाल व विधायक रमेश जायसवाल और सीएमओ डा. वाईके राय बाढ़ चौकी जलीलपुर और बहादुरपुर का निरीक्षण किया। तत्पश्चात कुंडा खुर्द गांव का निरीक्षण किया, जहां पर ग्रामीणों ने बताया कि कृषि योग्य क्षेत्रों के साथ-साथ मकान पेड़ और मलैया बस्ती में जाने के लिए मुख्य पक्की सड़क गंगा के पानी से कटान का शिकार हो रहा है जबकि इससे पहले लाखों रुपए खर्च करके प्रशासन ने जिओ ट्यूब के माध्यम से कटान रोकने का भरपूर प्रयास किया बावजूद गंगा के पानी से कटान जारी है अगर ऐसा ही रहा तो कुंडा खुर्द गांव के मलैया बस्ती में जाने के लिए आने वाले समय में रास्ता नहीं रह पाएगा। जबकि इस मौके पर उपजिलाधिकारी अविनाश कुमार, मुगलसराय इंस्पेक्टर बृजेश तिवारी, चौकी इंचार्ज जलीलपुर दिलीप कुमार श्रीवास्तव, मनीष सिंह, आशीष मौर्या, मिथिलेश यादव, ज्योति यादव, प्रीति साहनी, चंद्रप्रकाश अंजू सचान इत्यादि रहे।


चंदौली जनपद के 25 गांवों का कृषि रकबा डूबा
पड़ाव। जिलाधिकारी संजीव कुमार ने बताया कि जनपद में 25 गांव के कृषि क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित है जबकि 42 बाढ़ चौकियां स्थापित की गई है और संबंधित अधिकारियों को निर्देश दे दिया गया है समय रहते हुए उचित व्यवस्थाएं कर लिया जाए। पुलिस अधीक्षक अंकुर अग्रवाल ने कहा पांच थाना बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पुलिसकर्मियों की संख्या बढ़ा दी गई है और सभी को अलर्ट मोड में रहने के लिए बोल दिया गया है जरूरत पड़ने पर किसी गांव में पानी निकालने की आवश्यकता पड़ी तो फायर ब्रिगेड को लगा दिया जाएगा और संबंधित सभी थानों पर लाइव जैकेट की व्यवस्था कर दी गई है। चिकित्साधिकारी वाईके राय ने कहा कि और प्रभावित क्षेत्रों में संबंधित कर्मचारियों को लगा दिया गया है और उचित दवा और पाउडर की भी व्यवस्था करा दी गई है आगे कहा कि कोई भी व्यक्ति गंभीर बीमारी से ग्रसित है तो समय रहते हुए अपने बाढ़ प्रभावित गांव को छोड़कर किसी अन्य सुरक्षित स्थान पर चले जाए जहां से वह उचित इलाज करा सके। गर्भवती महिलाएं भी समय रहते हुए अपने मायके या किसी रिश्तेदार के यहां चली जाए, जिससे प्रसव के समय उचित इलाज संभव हो सके।
बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का एसडीएम ने किया मुआयना
सकलडीहा। गंगा में तेजी से बढ़ती जलस्तर को लेकर तटवर्ती इलाकों में दहशत है। शनिवार को डीएम के निर्देश पर एसडीएम मनोज पाठक ने दर्जनों बाढ़ प्रभावित गांवों का निरीक्षण किया। इस दौरान तहसीलदार नायब तहसीलदार सहित अन्य अधिकारियों को बाढ़ शरणालय सहित अन्य सुविधाओं पर किसान व ग्रामीणों से विस्तार से चर्चा किया।
उपजिलाधिकारी मनोज पाठक चहनिया क्षेत्र के गद्दोचक, सहेपुर, दीयां, प्रसहटा, बुढ़ेपुर, रायपुर, नरौली, अमादमपुर, मेढ़वा, नगवा, गुरैनी, प्रहलादपुर आदि क्षेत्र का निरीक्षण किया। जिसमें पकड़ी, प्रहलादपुर, बोझवा, गद्दोचक, चकरा, मुकुंदपुर आदि गांव के समीप गंगा का पानी पहुंच गया है। क्षेत्रीय लेखपाल, प्रधान, सचिव, राजस्व कर्मीयों सहित तहसीलदार और नायब तहसीलदार को बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में चिहिन्त 13 स्थलों पर बाढ़ शरणालय केन्द्र संचालित करने का निर्देश दिया। इस मौके पर तहसीलदार सतीश कुमार, नायब तहसीलदार रवि रंजन कश्यप सहित अन्य राजस्व कर्मी मौजूद रहे।
कागज पर चल रहा बाढ़ की तैयारी
सकलडीहा। तहसील के आलाधिकारी बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का निरीक्षण कर आवश्यक दिशा निर्देश दे रहे है। लेकिन तहसील के राजस्व कर्मी तहसील में कम्प्यूटर पर कागजी तैयारी में जुटे है। किसानों ने आरोप लगाया कि तहसील कर्मियों की मनमानी के कारण ग्रामीण और किसान परेशान है।