डीएम ने सीएम से मुलाकात कराने का अधिवक्ताओं का दिया भरोसा
चंदौली। जिला न्यायालय निर्माण के मुद्दे पर चंदौली के अधिवक्ता एक बार फिर आंदोलित नजर आए। अधिवक्ताओं ने कलेक्ट्रेट पहुंचकर प्रशासनिक अमले के खिलाफ नारेबाजी की और जिला न्यायालय के शिलान्यास की मांग पर अड़ गए। जानकारी के बाद कलेक्ट्रेट पहुंचे जिलाधिकारी निखिल टीकाराम फुंडे ने अधिवक्ताओं से बातचीत की। उनकी समस्याओं व मांगों को गंभीरता से सुना। इसके साथ ही उन्होंने नौ मार्च को जनपद दौरे पर आ रहे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से अधिवक्ताओं के दल को मिलाने का भरोसा दिया, तब जाकर अधिवक्ता शांत हुए।
इस दौरान बार अध्यक्ष शैलेंद्र कुमार सिंह व राकेश रत्न तिवारी ने कहा कि चंदौली के अधिवक्ताओं जिला न्यायालय एवं मुख्यालय के निर्माण के लिए लम्बी लड़ाई लड़ी है, जो दुर्भाग्यवश आज भी जारी है। यह सीधे तौर पर स्थानीय प्रशासन की लापरवाही, शिथिलता को उजागर करने के साथ ही स्थानीय जनप्रतिनिधियों की नाकामी को उजागर करता है। सीएम योगी आदित्यनाथ नौ मार्च को जनपद में मेडिकल कालेज समेत अन्य परियोजनाओं का उद्घाटन करने आ रहे हैं। ऐसे में जिला न्यायालय भवन का शिलान्यास होना चाहिए। यदि ऐसा नहीं होगा तो अधिवक्ता सामान्य लोकसभा निर्वाचन-2024 के दौरान सत्ता के साथ-साथ जिला प्रशासन के खिलाफ आंदोलन चलाएंगे। कहा कि अधिवक्ताओं के सब्र की सारी सीमाएं टूट चुकी है। क्योंकि बार-बार आग्रह व फरियाद के बाद भी स्थानीय प्रशासन व सत्ता पक्ष के नेता, मंत्री व विधायक सुनने को तैयार नहीं है। नाराज अधिवक्ताओं ने कलेक्ट्रेट पहुंचकर दफ्तरों में दरवाजों को बंद करके धरने पर बैठ गए। इस बाबत जब जिलाधिकारी को जानकारी हुई तो वह कुछ ही देर में कलेक्ट्रेट पहुंचे और उन्होंने धरनारत अधिवक्ताओं से बातचीत की। उनके द्वारा न्यायालय निर्माण के संबंध में आ रही दिक्कतों के बारे में अधिवक्ताओं को जानकारी दी। साथ ही अधिवक्ताओं की मांग पर एक प्रतिनिधिमंडल की सीएम से मुलाकात का भी आश्वासन दिया। इस अवसर पर महामंत्री झन्मेजय सिंह, हरेन्द्र प्रताप सिंह, वीरेंद्र सिंह छोटे, दुर्गेश पांडेय, अजय मौर्या, संतोष पाठक, संतोष सिंह, राहुल सिंह, योगेश सिंह लड्डू, अभिनव आनंद सिंह, उज्ज्वल सिंह, गौरव सिंह आदि उपस्थित रहे।