34 साल पूर्व गाली गलौज का दर्ज हुआ था मुकदमा
शहाबगंज। स्थानीय पुलिस ने सोमवार को न्यायलय के आदेश पर अमरसीपुर गांव निवासी केदार मल्लाह 90 वर्ष को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया। जहां बुजुर्ग को उम्र को देखकर न्यायालय ने तुरंत जमानत दे दिया।
बताते हैं कि केदार मल्लाह का अपने पड़ोसी के साथ किसी मामले को लेकर 1990 में विवाद हो गया था। विपक्षी ने शहाबगंज थाने पर गाली गलौज का मुकदमा 323, 504 दर्ज कराया था। पुलिस ने अभियोग पंजीकृत कर पत्रावली न्यायालय में पेश कर दिया। शुरू के दिनों में मुकदमा चला लेकिन समय बितने के साथ मुकदमे का फाइल दब गयी। समय गुजरने के साथ केदार मुकदमे की बात भुल गये। सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दिया कि जितने भी मामले न्यायालय में विचाराधीन पड़े हुए हैं। उनका तुरंत निस्तारण किया जाय। न्यायालय में पुरानी फाइलें निकाल कर सुनाई की जाने लगी। वही इस मुकदमे की बात केदार मल्लाह समय गुजरने के बाद भूल गये। न्यायालय में हो रही सुनवाई को उनको जानकारी ही नहीं है पाई। वहीं विद्वान जज जूनियर डिवीजन ने बार-बार पड़ रही सुनवाई के तारीख पर दोषी के नहीं पहुंचने पर नाराज जज ने शहाबगंज पुलिस को दोषी को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश करने का आदेश दे दिया। थाना प्रभारी मिर्जा रिजवान बेग जब आरोपी को गिरफ्तार करने गांव में पहुंचे तो देखा कि एक जीर्ण-शीर्ण काया का 90 साल का बुजुर्ग है केदार मल्लाह। लेकिन न्यायालय के अवहेलना के आदेश पुलिस ने बुजुर्ग को एम्बुलेंस में लादकर कोर्ट में पेश किया गया, जहां विद्वान जज ने जीर्ण-शीर्ण काया देखकर तत्काल जमानत दे दिया। थाना प्रभारी मिर्जा रिजवान बेग ने बताया कि न्यायालय के अवहेलना के क्रम में आरोपी बुजुर्ग को गिरफ्तार कर एंबुलेंस द्वारा न्यायालय के समक्ष पेश कराया गया।