चंदौली। भीषण गर्मी के कारण जनपद में तापमान 40 डिग्री से अधिक है। ऐसी स्थिति में बच्चों के पाचन क्रिया कमजोर हो जाती है। जिससे बच्चों तेज़ी से बीमारी के चपेट में आ जाते हैं। खासकर तपती गर्मी में बच्चों में डिहाइड्रेशन की शिकायत होने की अधिक संभावना होती है। उक्त बातें फुटिया स्थित अनामिका चाइल्ड केयर एंड हॉस्पिटल के चिकित्सक डॉ ऋषि कुमार ने बताई।
उन्होंने बताया कि दोपहर की धूप व इस बदले मौसम में बच्चों को बाहर न लेकर जाए। जब भी बच्चों को घर से बाहर ले जाना है तो सुबह और शाम के समय जाएं। गर्मी में बच्चों को अधिक से अधिक घर में रखें। इस समय गर्मी से सबसे अधिक बच्चे डिहाइड्रेशन से प्रभावित हो रहे हैं। ऐसे में उनके खान-पान पर विशेष ध्यान रखें। साथ ही कपड़े मौसम के हिसाब से पहनाएं तभी बच्चे सुरक्षित रह सकते हैं। जरा सी लापरवाही इस गर्मी में बच्चे को बीमार कर सकती है। बच्चों के स्वास्थ्य को ठीक रखना के लिए मौसमी ताजा फल और ताजा भोजन खिलाएं। जिससे बच्चों में भोजन की पाचन क्रिया जल्द पूरी हो और डिहाइड्रेशन जैसी बीमारी से उनको बचाया जा सके। कहा कि गर्मी के मौसम में बच्चों को ज्यादा से ज्यादा पानी पिलाएं। साथ ही बच्चों के अंदर ताकत के लिए पे पदार्थ को दें। गर्मी के दिनों में बच्चों को पानी कम से कम 8 से 10 बार जरूर पिलाएं। इस मौसम में बच्चों के शरीर पर अक्सर दाने निकल जाते हैं। जो उनकी त्वचा के लिए काफी हानिकारक होते हैं। और यह दाने गर्मी के चलते निकलते हैं। ऐसी स्थिति में बच्चों को धूप से बचाए और उन्हें सूती कपड़े पहनकर कर ही बाहर ले जाएं। बच्चों में अधिक परेशानी होने पर तत्काल चिकित्सकों को दिखाए।