चंदौली जिले में पीड़ित इंडियन बैंक के लॉकरधारियों का एक प्रतिनिधिमंडल मंगलवार को अपर पुलिस अधीक्षक चिरंजीव मुखर्जी से मिला। इस दौरान कानपुर सेंट्रल बैंक की शाखा के द्वारा 11 लॉकरधारियों के 24 दिन के भीतर 2 करोड़ 64 लाख का भुगतान किए जाने के तर्क पर पत्रक सौंपा और कानपुर की तर्ज पर मुआवजा भुगतान की मांग किया।
साथ ही साथ चेताया कि अगर बैंक पीड़ितों की मदद और कानूनी प्रक्रिया में सहयोग नहीं करेगा। और पुलिस भी बैंक पर दबाव बनाकर मुआवजा भुगतान की प्रक्रिया में सहयोग नहीं करेगा तो। लॉकरधारी आमरण अनशन करने को बाध्य होंगे। कहा कि अनशन तब तक चलेगा, जब तक बैंक के आला अफसर आकर सेटलमेंट के लिए तैयार नहीं हो जाते हैं। लॉकरधारी पीड़ितों ने कहा कि जिस तरह से कानपुर जिले में सेंट्रल बैंक से गायब हुए गहनों और जेवरातों के मामले में बैंक प्रबंधन ने कार्यवाही करते हुए मात्र 24 दिन के अंदर पीड़ित 11 लॉकरधारियों को मुआवजा देते हुए भरपाई की है। कानपुर की कराचीखाना लॉकर कांड के 11 पीड़ितों को 2 करोड़ 64 लाख का मुलावजा मिला है। इस मामले में बैंक प्रबंधन ने लॉकरधारियों के प्रति उदारता दिखाई है। लेकिन इंडियन बैंक प्रबंधन इस मामले में उदासीन बना हुआ है। केवल लेटलतीफी करके मामले को उलझाना चाहता है और कोर्ट में भी सही तरीके से न तो जवाब दाखिल कर रहा है और ना तो हमारा सहयोग कर रहा है। लॉकरधारियों ने पुलिस अधीक्षक से अनुरोध किया कि जिस तरह से चोर को पकड़ने में आप लोगों ने अलग-अलग जिले की घटनाओं का सहारा लिया है। उसी तरह से मुआवजे के भुगतान में अलग-अलग जगहों की नजीर को देखते हुए बैंक प्रबंधन पर दबाव बनाएं और मामले को जल्द से जल्द सुलझाने की पहल करें।
इसके साथ ही साथ मामले में बैंक की जांच रिपोर्ट तलब करके मामले में बैंक के लापरवाह अफसरों व बैंक कर्मचारियों को मामले में अभियुक्त बनाकर कार्रवाई शुरू करेंगे तभी बैंक प्रबंधन इस मामले में मुआवजा देने को राजी होगा।
इस दौरान अपर पुलिस अधीक्षक चिरंजीव मुखर्जी ने कोतवाल शेषधर पांडेय को निर्देशित किया कि कानपुर के मामले का संज्ञान लेकर तत्काल बैंक को वहां के भुगतान प्रक्रिया को समझने का निर्देश दिया और बैंक के अफसरों को कानपुर की सेंट्रल बैंक शाखा से कोआर्डिनेट करके वहां से पेपर मंगाने की बात कही। ताकि मुआवजे के भुगतान की प्रक्रिया को जाना समझा जा सके और पीड़ितों को मुआवजा दिलाने में मदद की जा सके।
इस दौरान विजय तिवारी, आरके सिंह, दिनेश सिंह, रेखा सिंह, रामेश्वर सिंह, सुदर्शन सिंह समेत कई लॉकरधारी शामिल थे।