खर्च हुए 209.25 लाख फिर भी पानी का प्रेशर झेल नहीं पा रही पाइपलाइन
Young Writer, Chandauli: एक तरफ केंद्र सरकार जहां जल जीवन मिशन के तहत प्रत्येक घर में पेयजल सुनिश्चित करने का दावा कर रही है। हर घर नल योजना चला रही है तथा लक्ष्य निर्धारित किया है कि साल 2024 तक ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में नल कनेक्शन उपलब्ध हो वहीं बबुरी क्षेत्र के सांसद आदर्श गांव जरखोर में 209.25 लाख की लागत से पानी टंकी बनने के बाद भी गांव के लोग पानी आपूर्ति की सुविधा से वंचित हैं। कारण ये है कि पानी की आपूर्ति शुरू किए जाने पर घर-घर जल पहुंचाने के लिए बिछाई गई पाइप लाइन पानी का लोड ही नहीं सह पाती हैं और फट जाती हैं।
पाइप लाइन के मरम्मत के संबंध में ग्रामीणों की मांग को समाचार पत्रों ने प्रमुखता से प्रकाशित किया था। जिसपर जलनिगम एक्सइएन अमित राज ने पहले तो समस्या से अनभिज्ञता जताई फिर जल्दी ही मरम्मत कराने का आश्वासन दिया था। लेकिन तीन महीने बीतने के बाद भी समस्या जस की तस बनी हुई है, जिससे ग्रामीणों में रोष है।
बताते हैं कि चंदौली सांसद डा. महेंद्र नाथ पांडेय ने 2014 में जरखोर गांव को विकसित करने के लिए गोद लिया था। सन 2015-16 में एक महत्वाकांक्षी योजना के तहत गांव के लगभग 4300 जनसंख्या को पाइप लाइन जल योजना से जोड़ने के लिए 209.25 लाख की लागत से पानी टंकी का निर्माण सांसद चंदौली डा. महेंद्र नाथ पांडेय द्वारा कराया गया, जिसका लोकार्पण 2019 में किया गया। लेकिन कुछ समय बाद ही आपूर्ति के लिए बिछी पाइप लाइन जगह-जगह से फटने लगी, जिससे पानी की आपूर्ति बाधित हो गयी। लगभग दो साल से पानी टंकी बंद पड़ी हुई है, जिससे ग्रामीण पाइप लाइन जल योजना के लाभ से वंचित हैं।
इस संबंध में जलनिगम के सहायक अभियंता सीताराम यादव ने बताया कि निर्माण के समय सामग्री को लेकर बरती गयी अनियमितता के कारण पाइप फटने की समस्या आ रही है। हालांकि अखबार में प्रकाशन के बाद मरम्मत कराने का प्रयत्न किया गया था, लेकिन समस्या का निराकरण नहीं हो पाया। ग्राम प्रधान रानी देवी का कहना है कि नया टंकी बनवाइए या लिकेज से निजात के लिए लोहे की पाइप लगवाइए नहीं तो हम चलने नहीं देंगे। इस समय हर घर नल योजना के तहत कार्य हो रहा है। इसलिए मरम्मत के लिए के बजट नहीं आ रहा है। फिर भी वहां के पाइप लाइन के मरम्मत के लिए प्रयास किया जाएगा।
इस संबंध में ग्राम प्रधान रानी देवी ने बताया कि जहां टंकी बनी है, वहां से आधे गांव के भूमि की ऊंचाई काफी ज्यादा है। जिसके कारण आपूर्ति के समय पानी का प्रेशर पाइप सह नहीं पाती और बार-बार फट जाती है। लीकेज के कारण गलियों में बिछाइ गई इंटरलॉकिंग ईंटें उखड़ जाती हैं। बार-बार गली का मरम्मत कराना पड़ता है। इसलिए मांग किया गया है कि जल जीवन मिशन के तहत एक और पानी टंकी का निर्माण कराया जाए ताकि पूरा गांव हर घर नल योजना के तहत पानी की आपूर्ति से लाभान्वित हो सके।